सांवलियाजी के मंदिर पहुंचे राज्यपाल बागडे और मंत्री कुमावत:प्रसाद में चरणामृत और तुलसी ली; विधि-विधान से की पूजा
पशुपालन, डेयरी, गोपालन एवं देवस्थान विभाग के मंत्री जोराराम कुमावत और राजस्थान के राज्यपाल हरिभाऊ बागडे आज रविवार को चित्तौड़गढ़ जिले के दौरे पर रहे। दोनों ही नेताओं ने अपने दौरे की शुरुआत प्रसिद्ध कृष्णधाम सांवलिया सेठ मंदिर से की। मंदिर पहुंचने पर उन्होंने विधिवत दर्शन किए और भगवान के चरणों में माथा टेककर प्रदेश की खुशहाली की कामना की। इस दौरान मंदिर परिसर में शांति और अनुशासन का माहौल रहा तथा श्रद्धालुओं में भी खास उत्साह देखने को मिला। पारंपरिक रूप से किया स्वागत मंत्री और राज्यपाल के मंदिर आगमन को देखते हुए प्रशासन की ओर से पुख्ता सुरक्षा व्यवस्था की गई थी। मंदिर परिसर और आसपास पुलिस बल तैनात रहा, ताकि किसी तरह की अव्यवस्था न हो। दर्शन के बाद मंदिर के पुजारी द्वारा दोनों का पारंपरिक तरीके से स्वागत किया गया। पुजारी ने उन्हें चरणामृत और तुलसी का पत्ता दिया गया। इसके बाद उपरणा ओढ़ाकर सम्मान किया गया। पूरे कार्यक्रम में धार्मिक परंपराओं का विशेष ध्यान रखा गया और सभी रस्में सादगी के साथ निभाई गईं। सुमेरपुर से सांवलिया जी पहुंचे मंत्री जोराराम मंत्री जोराराम कुमावत सुमेरपुर से सीधे सांवलिया सेठ मंदिर पहुंचे थे। उनके साथ समर्थक और स्थानीय लोग भी मौजूद रहे। मंत्री ने मंदिर में दर्शन के बाद कुछ समय रुककर मंदिर व्यवस्थाओं की जानकारी भी ली। वहीं राज्यपाल हरिभाऊ किसनराव बागडे भी अलग से मंदिर पहुंचे और उन्होंने भी पूरे विधि-विधान के साथ पूजा-अर्चना की। सामाजिक काम में शामिल होने पहुंचे मंत्री और राज्यपाल दर्शन के बाद मंत्री जोराराम कुमावत और राज्यपाल हरिभाऊ किसनराव बागड़े दोनों ही मेवाड़ कुमावत समाज के एक कार्यक्रम में शामिल होने के लिए रवाना हुए। इस कार्यक्रम में समाज के लोगों ने उनका गर्मजोशी से स्वागत किया।
पशुपालन, डेयरी, गोपालन एवं देवस्थान विभाग के मंत्री जोराराम कुमावत और राजस्थान के राज्यपाल हरिभाऊ किसनराव बागड़े आज रविवार को चित्तौड़गढ़ जिले के दौरे पर रहे। दोनों ही नेताओं ने अपने दौरे की शुरुआत प्रसिद्ध कृष्णधाम सांवलिया सेठ मंदिर से की। मंदिर पहुंचने पर उन्होंने विधिवत दर्शन किए और भगवान के चरणों में माथा टेककर प्रदेश की खुशहाली की कामना की। इस दौरान मंदिर परिसर में शांति और अनुशासन का माहौल रहा तथा श्रद्धालुओं में भी खास उत्साह देखने को मिला। पारंपरिक रूप से किया स्वागत मंत्री और राज्यपाल के मंदिर आगमन को देखते हुए प्रशासन की ओर से पुख्ता सुरक्षा व्यवस्था की गई थी। मंदिर परिसर और आसपास पुलिस बल तैनात रहा, ताकि किसी तरह की अव्यवस्था न हो। दर्शन के बाद मंदिर के पुजारी द्वारा दोनों का पारंपरिक तरीके से स्वागत किया गया। पुजारी ने उन्हें चरणामृत और तुलसी का पत्ता दिया गया। इसके बाद उपरणा ओढ़ाकर सम्मान किया गया। पूरे कार्यक्रम में धार्मिक परंपराओं का विशेष ध्यान रखा गया और सभी रस्में सादगी के साथ निभाई गईं। सुमेरपुर से सांवलिया जी पहुंचे मंत्री जोराराम मंत्री जोराराम कुमावत सुमेरपुर से सीधे सांवलिया सेठ मंदिर पहुंचे थे। उनके साथ समर्थक और स्थानीय लोग भी मौजूद रहे। मंत्री ने मंदिर में दर्शन के बाद कुछ समय रुककर मंदिर व्यवस्थाओं की जानकारी भी ली। वहीं राज्यपाल हरिभाऊ किसनराव बागड़े भी अलग से मंदिर पहुंचे और उन्होंने भी पूरे विधि-विधान के साथ पूजा-अर्चना की। सामाजिक काम में शामिल होने पहुंचे मंत्री और राज्यपाल दर्शन के बाद मंत्री जोराराम कुमावत और राज्यपाल हरिभाऊ किसनराव बागड़े दोनों ही मेवाड़ कुमावत समाज के एक कार्यक्रम में शामिल होने के लिए रवाना हुए। इस कार्यक्रम में समाज के लोगों ने उनका गर्मजोशी से स्वागत किया।