धौलपुर में शीतलहर का प्रकोप, तीसरे दिन घना कोहरा:तापमान में गिरावट; चिकित्सा विभाग ने एडवाइजरी जारी की
धौलपुर जिले सहित पूरे उत्तर भारत में शीतलहर का प्रकोप जारी है। रविवार से शुरू हुआ घना कोहरा मंगलवार सुबह लगातार तीसरे दिन भी छाया रहा। सोमवार को दिनभर सूर्य के दर्शन नहीं हुए, जिससे दिन के तापमान में 2 डिग्री सेल्सियस की गिरावट दर्ज की गई। धौलपुर में न्यूनतम तापमान 9 डिग्री और अधिकतम तापमान 21 डिग्री सेल्सियस रिकॉर्ड किया गया। मंगलवार सुबह से ही धौलपुर जिले में घना कोहरा छाया हुआ है। कोहरे के कारण लोग घरों में रहने को मजबूर हैं, जिससे जनजीवन प्रभावित हुआ है। जिला कलेक्टर श्रीनिधि बी टी के निर्देश पर चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग ने आमजन के लिए शीतलहर से बचाव हेतु आवश्यक दिशा-निर्देश और एडवाइजरी जारी की है। डॉक्टर धर्म सिंह मीणा ने बताया कि शीतलहर का नकारात्मक प्रभाव बुजुर्गों और छोटे बच्चों पर अधिक होता है। शीतलहर से प्रभावित रोगियों में शरीर का ठंडा पड़ जाना, सुन्न होना, नाड़ी का धीमा पड़ना, रोंगटे खड़े होना और श्वसन तेज चलना जैसे लक्षण दिखाई देते हैं। उन्होंने चेतावनी दी कि समय पर उपचार न मिलने पर रोगी की मौत भी हो सकती है। दिव्यांग व्यक्तियों, दीर्घकालिक बीमारियों से पीड़ित रोगियों और खुले क्षेत्र में व्यवसाय करने वाले छोटे व्यापारियों को भी शीतलहर के दौरान विशेष सतर्कता बरतने की आवश्यकता है। शीतलहर से बचाव के लिए फुटपाथ पर रहने वाले भ्रमणशील लोगों, जैसे भिखारी और गाड़िया लुहारों को रात में रैन बसेरा, सार्वजनिक भवन या धर्मशालाओं में रहने की सलाह दी गई है। खुले स्थान पर सोने से बचें। यदि रात में बाहर काम करना या रहना आवश्यक हो, तो अंगीठी या अलाव लगाकर तापने की व्यवस्था करें। अधिकतर गर्म भोजन का सेवन करें और गुड़, तिल, चिकनाई, चाय, कॉफी जैसे खाद्य पदार्थों का उपयोग करें। शीतलहर से प्रभावित व्यक्ति को कंबल, रजाई आदि से ढकें। पास में अंगीठी या हीटर जलाएं। गर्म पेय पदार्थ जैसे गुड़, चाय, घी, कॉफी और तेल का अधिक उपयोग करें। यदि गर्म पानी की थैली उपलब्ध हो, तो उससे सिकाई करें। जहां तक हो सके, गर्म पानी से नहाएं। शीतलहर से प्रभावित होने पर व्यक्ति को शीघ्र ही नजदीकी अस्पताल में इलाज के लिए ले जाएं।