रिटायर्ड जज ने मोबाइल से खींची 'रंगीन-पानी' की तस्वीरें:सुप्रीम कोर्ट से गठित कमेटी ने देखा बांडी का प्रदूषण; किसान बोले-40 साल से 70 गांव प्रभावित
पाली शहर से करीब 42 किलोमीटर दूर बांडी नदी पर स्थित नेहड़ा बांध 40 साल से इलाके के लोगों को किडनी और हार्ट की बीमारियां बांट रहा है। वजह है फैक्ट्रियों से निकला दूषित रंगीन पानी। यह पानी इलाके की फैक्ट्रियों से बांडी नदी में छोड़ा जाता है। दावा है कि गुजरात से टैंकरों में दूषित पानी लाकर बांडी में डाला जाता है। सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद गठित उच्च स्तरीय कमेटी जोधपुर से नेहड़ा बांध (पाली) पहुंची। कमेटी का नेतृत्व कर रहे रिटायर्ड जस्टिस संगीत लोढ़ा ने हालात देखे। अपने मोबाइल से गंदे पानी की तस्वीरें खींची। नाराजगी जाहिर की। इस मौके पर कई गांवों के किसान, किसान नेता, जनप्रतिनिधि, पर्यावरण प्रेमी, एक्टीविस्ट और एक्सपर्ट यहां मौजूद रहे। टीम ने नेहड़ा बांध से पानी के सैंपल लिए और जोधपुर लौट गई। बांडी नदी पर नेहड़ा बांध.. फसलें और नस्लें हो रही खराब, गंभीर बीमारियां हो रही रिटायर्ड जस्टिस संगीत लोढ़ा से किसानों ने शिकायत की। किसान नेता महावीर सिंह सुकरलाई ने कहा- जिला कलेक्टर एलएन मंत्री के निर्देश के बाद प्रदूषण नियंत्रण मंडल और नगर निगम की टीम ने मंडिया रोड विकास नगर (पाली) में अवैध पाइप लाइन पकड़ी थी। इसके जरिए फैक्ट्रियों का दूषित पानी बांध में छोड़ा जा रहा था।प्रदूषण की समस्या से अवगत करवाते हुए इसका स्थाई समाधान करने व किसानों को अब तक हुए नुकसान का मुआवजा दिलवाने की मांग की। सेवानिवृत जस्टिस संगीत लोढ़ा की अध्यक्षता में गठित इस कमेटी के नेहड़ा बांध व जेतपुर-गढ़वाडा बांडी नदी रपट पर पहुंचने के दौरान किसान भाइयों के साथ उपस्थित होकर कमेटी को प्रदूषण की स्थिति के बारे में जानकारी दी एवं इस संबंध में हाईकोर्ट, NGT के निर्णयों के बारे में बताते हुए उनकी पालना करवाने की मांग की। किसान वागाराम विश्नोई ने कहा- साहब, किसान दूषित पानी से ही सिंचाई करने के लिए मजबूर हैं। फसलें बिक ही नहीं पाती। किसानों के परिवार उपज को खाने में इस्तेमाल करके किडनी, हार्ट, कैंसर जैसे गंभीर रोगों की चपेट में आ रहे हैं। इस रासायनिक पानी से इलाके के 70 गांवों में फसलें और नस्लें खराब हो रही है। कई जगह तो पानी इतना दूषित है कि फसल ही नहीं उगती। बांध में फैक्ट्रियों से निकला रंगीन पानी भरा है। जो बताने के लिए काफी है कि बांडी नदी में चोरी छिपे दूषित पानी छोड़ा जा रहा है। गढ़वाड़ा गांव के किसान नाथूदान ने कहा- यह समस्या करीब 40 साल पुरानी है। कई टीमें आईं और गईं। किसानों का दर्द बरकरार है। NGT के आदेश का पालन जिम्मेदार अधिकारी नहीं करा पाए। इसलिए बांडी दूषित हुई। निगम ने पाइप लाइन उखाड़ दी। लेकिन लाइन बिछाने वालों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई नहीं की। गुजरात से टैंकरों में लाकर पानी छोड़ा गया मौके पर मौजूद भाजपा नेता पुखराज पटेल ने कहा- बांडी नदी में अनट्रीट पानी छोड़ा जा रहा है। खेत-फसलें खराब हो रही हैं। फिर भी आरोपियों के खिलाफ सिंचाई विभाग कार्रवाई क्यों नहीं करता? उनके खिलाफ मुकदमे दर्ज किए जाने चाहिए तब जाकर ही नेहड़ा बांध को बर्बाद करने वालों को सजा मिल पाएगी। पूर्व प्रतिपक्ष नेता मदन सिंह जागरवाल ने बताया- पहले भी गुजरात से रासायनिक पानी से भरे टैंकर को पकड़ा गया था। यह पानी बांडी नदी में खाली किया जा रहा था। नजर रखने के लिए ऐसी टीम गठित होनी चाहिए जो रात के अंधेरे में ऐसा काम करने वालों पर निगरानी रखे और उनके खिलाफ कठोर कानूनी कार्रवाई अमल में लाई जाए। दूषित पानी के खिलाफ आंदोलन करने वाले दीपक बामणिया ने कहा- मैंने नेहड़ा बांध को लेकर अनशन किया तो मुझे जेल में डाल दिया। टीम ने 2 बार लिए सैंपल, 3 किलोमीटर बोलकर 8 किलोमीटर ले गए रिटायर्ड जस्टिस संगीत लोढ़ा के साथ आई टीम ने नेहड़ा बांध से सैंपल लिए। किसानों ने कहा कि हम जहां से कहें, वहां से सैंपल लीजिए। इसके बाद टीम ने दोबारा बांध से अलग जगह से सैंपल लिए। नेहड़ा बांध का जायजा लेकर टीम जेतपुर-गढ़वाड़ा के बीच स्थित बांडी नदी की रपट पहुंची। वहां भी रंगीन पानी दिखा। यहां कई किसानों ने लोढ़ा से आग्रह किया कि वे 3 किलोमीटर दूर स्थित छापरिया गांव चलकर हालात देखें। वहां हालात काफी विकट हैं। लोढ़ा अपना शेड्यूल बदलकर छपरिया गांव की तरफ निकले। लेकिन सिंगल कच्चे रोड पर 7-8 किलोमीटर चलने के बाद भी जब गांव नहीं आया तो उन्होंने नाराजगी जताई। कहा- आपको सच बोलना चाहिए था। आगे का पूरा शेड्यूल बिगड़ रहा है। छापरिया गांव पहुंचने पर किसानों ने बताया कि कैसे उनके खेत रंगीन पानी के कारण खराब हो चुके हैं। निरीक्षण के दौरान लोढ़ा हर जगह के फोटो-वीडियो खुद अपने मोबाइल कैमरे में कैद करते नजर आए। यहां से वे पाली सर्किट हाऊस पहुंचे। लंच के बाद हाईवे से होते हुए उन्होंने ट्रीटमेंट प्लांट की स्थिति देखी और टैंकरों के पहियों के निशान देख नाराजगी जताई। यहां भी उन्हें बांडी नदी में रंगीन पानी नजर आया। इसके बाद टीम जोधपुर चली गई। देखें, टीम विजिट की तस्वीरें... टीम विजिट के दौरान मौके पर जिला कलेक्टर एलएन मंत्री, एसपी आदर्श सिधु, एएसपी त्वरित अनुसंधान सेल जयसिंह, सीओ ग्रामीण अमरसिंह रत्नू, सीओ सोजत रतनाराम देवासी, प्रदूषण नियंत्रण मंडल के आरओ अमित सोनी, जेतपुर थानाप्रभारी जबर सिंह, रोहट थानाप्रभारी पदमपाल सिंह सहित पुलिस जाप्ता मौजूद रहा।