शुभ शुरुआत:गोविंददेवजी में 5 लाख, मोती डूंगरी मंदिर में 3 लाख श्रद्धालुओं के आने का अनुमान, मंदिरों ने तैयार किया रूटमैप
2025 का आखिरी बुधवार 31 दिसंबर और नववर्ष के पहले दिन 1 जनवरी को शहर में धार्मिक पर्यटकों का सैलाब उमड़ेगा। बुधवार को मोतीडूंगरी गणेशजी मंदिर में श्रद्धालुओं की भीड़ रहेगी। इस दिन पुत्रदा एकादशी भी है। नववर्ष के पहले दिन हजारों लोग गोविंददेवजी के दर्शन के लिए पहुंचेंगे। मंदिर प्रशासन के मुताबिक इन दो दिनों में करीब 5 लाख दर्शनार्थियों के आने की संभावना है। इसके चलते रूटमैप तैयार किया गया है। मंदिर प्रशासन ने दीपावली, जन्माष्टमी व गणेश चतुर्थी की तर्ज पर ही आवाजाही की व्यवस्था की है। मंदिर एवं पुलिस प्रशासन पूरी तरह से जुट गया है। दोनों ही दिनों के लिए विशेष दर्शन व्यवस्था, प्रवेश-निकास मार्ग, सुरक्षा प्रबंध तथा दर्शन समय में विस्तार किया गया है। इस दिन मंगला झांकी से शयन झांकी तक निर्धारित प्रवेश व्यवस्था लागू रहेगी। वहीं, नववर्ष पर गोविंददेवजी मंदिर में 7 से बढ़ाकर लगभग 8 घंटे 45 मिनट तक भक्तों को दर्शन देंगे। भीड़ अधिक होने पर प्रत्येक झांकी में 15 से 30 मिनट तक समय बढ़ाया जा सकता है। मोतीडूंगरी गणेशजी; सुबह 5 बजे मंगला आरती के साथ दर्शन शुरू, प्रवेश के लिए 7, निकासी को 8 कतारें साल के पहले दिन मोतीडूंगरी गणेश मंदिर में भक्तों की भीड़ को देखते हुए मंदिर ट्रस्ट ने पहले से तैयारियां पूरी कर ली हैं। दर्शन व्यवस्था को इस बार पूरी तरह गणेश चतुर्थी की तर्ज पर रखा गया है। ताकि श्रद्धालु सुगम और सुरक्षित दर्शन कर सकें। महंत कैलाश शर्मा ने बताया कि श्रद्धालुओं के प्रवेश के लिए सात अलग-अलग लाइनें बनाई गई हैं। वहीं, मंदिर से बाहर निकलने के लिए आठ निकासी मार्ग निर्धारित किए गए हैं। इससे भीड़ का दबाव एक स्थान पर नहीं पड़ेगा और दर्शन लगातार चलते रहेंगे। दर्शन सुबह 5 बजे मंगला आरती के साथ शुरू होंगे और रात 9 बजे शयन आरती तक चलेंगे। यहां पर 10 से बढ़ाकर करीब 16 घंटे श्रद्धालु गणेशजी के दर्शन कर सकेंगे। नए साल पर भगवान गणेश स्वर्ण मुकुट धारण कर भक्तों को दर्शन देंगे। गणेशजी को छप्पन भोग अर्पित किया जाएगा। मंदिर परिसर में 72 सीसीटीवी कैमरों से निगरानी रखी जाएगी। गोविंददेवजी: दर्शनार्थियों का प्रवेश मुख्य द्वार से ही, जयनिवास बाग से प्रवेश बंद दर्शनार्थियों का प्रवेश मंदिर के मुख्य द्वार से ही होगा। जयनिवास बाग से प्रवेश बंद रहेगा। मंदिर में जूता-चप्पल खोलने की व्यवस्था नहीं होगी तथा निशुल्क जूताघर भी बंद रहेगा। श्रद्धालु जूते-चप्पल सहित मंदिर के बाहर बने रैंप से तथा बिना जूता-चप्पल मंदिर छावनी से दर्शन कर सकेंगे। दर्शन उपरांत श्रद्धालु परिक्रमा करते हुए मुख्य द्वार से ही निकलेंगे। कंवर नगर व ब्रह्मपुरी की ओर से आने वाले श्रद्धालु जय निवास उद्यान–जनता मार्केट मार्ग से प्रवेश कर श्री चिंताहरण हनुमानजी की ओर से निकास कर सकेंगे।